आईपीएस के छात्रों ने वॉटर प्यूरीफायर प्लांट का किया शैक्षणिक भ्रमण।
पानी शुद्धिकरण की प्रक्रिया एवं रासायनिक प्रयोगों की ली जानकारी।
कटनी, बरही:
जीवन के सर्वांगीण विकास एवं व्यवहारिक ज्ञान प्राप्त करने के उद्देश्य से इंडियन पब्लिक हायर सेकेंडरी स्कूल, बरही के छात्र-छात्राओं ने नगर परिषद बरही स्थित वॉटर प्यूरीफायर प्लांट का शैक्षणिक भ्रमण किया। इस भ्रमण के दौरान छात्रों को पानी की शुद्धिकरण प्रक्रिया, रासायनिक क्रियाएं, प्रयोगशाला परीक्षण और जल आपूर्ति प्रणाली की बारीकियों से अवगत कराया गया।
प्लांट पहुंचने पर छात्रों का स्वागत प्लांट प्रभारी अंकित शुक्ला एवं सहयोगी राहुल सर द्वारा किया गया। तत्पश्चात छात्रों को रॉ वाटर से शुद्ध जल प्राप्त करने की संपूर्ण प्रक्रिया से परिचित कराया गया। प्लांट प्रभारी द्वारा छात्रों को बताया गया कि किस प्रकार विभिन्न चरणों और रासायनिक प्रक्रियाओं के माध्यम से अशुद्ध जल को पीने योग्य बनाया जाता है। इसके अंतर्गत क्लोरीनेशन, फिल्ट्रेशन, पीएच लेवल जांच और जल भंडारण प्रक्रिया की जानकारी दी गई।
छात्रों के लिए सबसे अधिक रोचक क्षण तब रहा जब उन्हें स्वयं प्रयोग करने का अवसर मिला। लैब प्रभारी के मार्गदर्शन में छात्रों ने रॉ वाटर और शुद्ध वाटर के बीच पीएच लेवल मापने का प्रयोग किया। इस प्रयोग के माध्यम से छात्रों ने यह प्रत्यक्ष रूप से अनुभव किया कि अशुद्ध जल और शुद्ध जल में कितनी भिन्नताएं होती हैं। छात्रों ने पानी में मिश्रित अशुद्धियों, रसायनों और उनके प्रभावों के बारे में भी गहन जानकारी प्राप्त की।
इस दौरान प्लांट प्रभारी ने छात्रों को यह भी बताया कि प्रतिदिन नगर परिषद क्षेत्र में कितनी मात्रा में शुद्ध जल की आपूर्ति की जाती है, जल भंडारण क्षमता क्या है और आपातकालीन परिस्थितियों में जल आपूर्ति प्रणाली कैसे कार्य करती है। छात्रों ने यह भी जाना कि प्लांट में उपयोग किए जाने वाले रसायन जैसे फिटकरी, ब्लीचिंग पाउडर और अन्य केमिकल्स किस मात्रा में उपयोग किए जाते हैं, ताकि जल शुद्धिकरण की गुणवत्ता बनी रहे।
भ्रमण के दौरान छात्रों ने यह भी देखा कि प्लांट में जल की गुणवत्ता जांचने के लिए प्रयोगशाला में कौन-कौन से उपकरणों का उपयोग किया जाता है और जल की गुणवत्ता को सुनिश्चित करने के लिए किन-किन मानकों का पालन किया जाता है। छात्रों के लिए यह एक प्रेरणादायक और ज्ञानवर्धक अनुभव रहा, जिससे उन्होंने जल शुद्धिकरण के तकनीकी पहलुओं को गहराई से समझा।
इस शैक्षणिक भ्रमण में हायर सेकेंडरी एवं हाई स्कूल के छात्र-छात्राएं सम्मिलित रहे। भ्रमण के दौरान विद्यालय की चेयरपर्सन आर एस जायसवाल, शिक्षिका पूर्णिमा मैम एवं शिक्षक यस वाई सर की भूमिका अत्यंत सराहनीय रही। उन्होंने छात्रों को प्रयोगों के दौरान प्रोत्साहित किया और जल शुद्धिकरण प्रक्रिया को समझने में सहयोग प्रदान किया।
विद्यालय प्रशासन का मानना है कि इस प्रकार के शैक्षणिक भ्रमण छात्रों के बौद्धिक और व्यवहारिक ज्ञान को बढ़ावा देते हैं तथा उन्हें समाज और पर्यावरण के प्रति जागरूक बनाते हैं। जल शुद्धिकरण प्रक्रिया को प्रत्यक्ष देखने और समझने से छात्रों के अंदर जल संरक्षण के प्रति एक नई चेतना का संचार हुआ।
इस शैक्षणिक भ्रमण से छात्रों ने जल आपूर्ति, जल संरक्षण, जल शुद्धिकरण प्रक्रिया और प्रयोगशाला परीक्षण के महत्व को गहराई से समझा। भविष्य में ऐसे ही शैक्षणिक भ्रमण आयोजित किए जाने की आवश्यकता पर भी विद्यालय प्रबंधन ने जोर दिया। इस दौरान छात्रों ने प्लांट में कार्यरत कर्मचारियों से भी चर्चा की और उनकी भूमिका तथा चुनौतियों के बारे में जाना।
छात्रों ने इस भ्रमण के अनुभव को अत्यंत प्रेरणादायक बताया और विद्यालय प्रबंधन को धन्यवाद दिया कि उन्हें जल शुद्धिकरण प्रक्रिया को प्रत्यक्ष देखने और समझने का अवसर मिला। छात्रों ने यह संकल्प लिया कि वे भविष्य में जल संरक्षण के लिए जागरूकता फैलाएंगे और लोगों को शुद्ध पेयजल के महत्व के बारे में बताएंगे।