प्रयागराज महाकुंभ में श्री श्याम दास को महंत की उपाधि, संत समागम में हुई विधिवत घोषणा।

 प्रयागराज महाकुंभ में श्री श्याम दास को महंत की उपाधि, संत समागम में हुई विधिवत घोषणा।

"कनक धाम लौनीकला मंदिर एवं आश्रम के महंत बने श्री श्याम दास जी, मध्य प्रदेश के भक्तों ने किया आयोजन में उत्साहपूर्वक भागीदारी।

प्रयागराज:

19 जनवरी 2025: तीर्थराज प्रयागराज के ऐतिहासिक महाकुंभ मेला में आज एक अत्यंत महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक घटना घटित हुई। महाकुंभ के सेक्टर नंबर 18 में स्थित खालसा परिसर में हुए भव्य संत समागम के बीच श्री श्याम दास जी को महंत की उपाधि से नवाजा गया। यह आयोजन विशेष रूप से आचार्य श्री 1008 श्री कनक बिहारी दास जी महाराज के आशीर्वाद से हुआ, और समस्त उपस्थित संत महात्माओं एवं भक्तों के बीच यह ऐतिहासिक घोषणा विधिवत रूप से संपन्न हुई। 

समारोह के दौरान संतों ने विधिपूर्वक श्री श्याम दास जी को महंत की उपाधि प्रदान की। यह अवसर महाकुंभ के शुभ अवसर पर अखिल भारतीय दिगम्बर अनी अखाड़े के समस्त संतों द्वारा आयोजित किया गया था। कार्यक्रम में विदिशा जिले के नौलखी धाम के श्री 1008 महंत राममनोहर दास जी और श्री महेश्वर दास जी ने अपनी उपस्थिति दर्ज कराई, साथ ही छिंदवाड़ा आश्रम के नवनियुक्त महंत श्री श्याम दास जी के आधिकारिक महंत पद पर नियुक्ति की घोषणा की। इस महंत पद की घोषणा को सुनकर उपस्थित संत और भक्तजन अत्यधिक आह्लादित हुए। 

इस आयोजन में मध्य प्रदेश के विभिन्न जिलों के रघुवंशी समाज के भक्तजन बड़ी संख्या में शामिल हुए। विशेष रूप से विदिशा जिले के ग्राम जोहद से नवल सिंह रघुवंशी और उनके क्षेत्रीय साथी भी आयोजन में उपस्थित रहे और संतों को अपनी हार्दिक शुभकामनाएं दीं। भक्तों की भागीदारी ने कार्यक्रम को और भी ऐतिहासिक बना दिया।

इस भव्य आयोजन में भजन-कीर्तन का भी आयोजन किया गया, जिसमें संतों और भक्तों ने एक साथ मिलकर भक्ति के गीतों का रसपान किया। इसके साथ ही संतों ने अपनी वाणी से प्रवचन दिए, जिससे भक्तों के मन में श्रद्धा और भक्ति की भावना और भी प्रगाढ़ हुई। 

श्री श्याम दास जी को महंत की उपाधि मिलना केवल एक व्यक्तिगत सम्मान नहीं, बल्कि एक सांस्कृतिक और धार्मिक प्रतिष्ठा का प्रतीक है। कनक धाम लौनीकला मंदिर और आश्रम के भक्तों में इस घोषणा से खुशी का माहौल है। अब, श्री श्याम दास जी के नेतृत्व में मंदिर और आश्रम की गतिविधियों में नए आयाम जुड़ने की उम्मीद है, जिससे वहां के भक्तों की श्रद्धा और विश्वास और अधिक मजबूत होगा।

संतों द्वारा श्री श्याम दास जी को महंत की उपाधि प्रदान करने से यह स्पष्ट हो गया है कि वे इस पद के लिए पूरी तरह से योग्य हैं। इस उपाधि के बाद अब श्री श्याम दास जी के नेतृत्व में कनक धाम लौनीकला मंदिर और आश्रम में कई नए और महत्वपूर्ण कार्यों की शुरुआत होने की संभावना है, जो न केवल भक्तों के लिए, बल्कि समाज के लिए भी लाभकारी साबित होंगे।


रिपोर्टर:
यशवंत सिंह रघुवंशी ब्यूरो, ग्रामीण खबर MP  
विदिशा जिला

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