नटेरन से छींद धाम तक श्रद्धालुओं की पैदल धर्म यात्रा प्रारंभ।
भैरवजी मंदिर से हुआ शुभारंभ, श्रद्धालुओं का पुष्पमालाओं से भव्य स्वागत।
नटेरन से श्रद्धालु निकले छींद धाम की ओर, भक्ति और उल्लास का माहौल।
नटेरन (विदिशा):
भगवान श्री राम के अनन्य भक्त श्री हनुमान जी महाराज के पावन धाम "छींद" की यात्रा के लिए नटेरन और आसपास के सैकड़ों श्रद्धालुओं ने मंगलवार को धर्म यात्रा की शुरुआत की। यह यात्रा नटेरन के ऐतिहासिक भैरवजी मंदिर से आरंभ हुई, जिसमें श्रद्धालुओं का ग्रामीणों ने पुष्पमालाओं से स्वागत कर उन्हें शुभकामनाएं दीं।
यात्रा मार्ग:
यह पैदल यात्रा नटेरन से ग्राम दासखजीरी, हिनोतिया और अड़िया होते हुए मंगलवार को गुलाबगंज पहुंची। यात्रा में शामिल श्रद्धालुओं के साथ गंज बासौदा के भक्त भी जुड़े। यात्रा का अंतिम पड़ाव बरेली स्थित "छींद धाम" होगा, जहां श्रद्धालु अपनी मनोकामनाएं लेकर भगवान हनुमान जी के दरबार में अर्जी लगाएंगे।
भक्ति और समर्पण का संगम:
यात्रा में शामिल श्रद्धालुओं ने अपने उत्साह और भक्ति का प्रदर्शन किया। भक्ति गीतों और जयकारों से वातावरण भक्तिमय हो उठा। ग्रामीणों ने जगह-जगह यात्रियों के लिए जलपान और विश्राम की व्यवस्था की, जिससे उनका समर्पण और सहयोग दिखाई दिया।
यात्रा के चौथे वर्ष का विशेष महत्व:
यह यात्रा लगातार चौथे वर्ष आयोजित की जा रही है, और हर वर्ष इसमें श्रद्धालुओं की संख्या बढ़ती जा रही है। इस बार यात्रा का नेतृत्व नटेरन से निरंजन सिंह रघुवंशी, अमित रघुवंशी, सुमित सिंह, अंकेश रघुवंशी, दीपक रघुवंशी और आकाश सत्यम रघुवंशी ने किया। उनके साथ सैकड़ों श्रद्धालु भी इस पवित्र धर्म यात्रा का हिस्सा बने।
छींद धाम में प्रसादी भंडारे का आयोजन:
छींद धाम पहुंचने के बाद सभी श्रद्धालु भगवान हनुमान जी के दर्शन कर अपनी मनोकामनाएं पूरी करने की प्रार्थना करेंगे। इसके बाद विशाल प्रसादी भंडारे का आयोजन किया जाएगा, जिसमें हजारों भक्त शामिल होंगे।
ग्रामीणों का अभूतपूर्व सहयोग:
यात्रा के दौरान ग्रामीणों ने न केवल श्रद्धालुओं का गर्मजोशी से स्वागत किया, बल्कि उनके लिए भोजन, पानी और विश्राम की सुविधाएं भी प्रदान कीं। यह यात्रा भक्ति और सामूहिक सहयोग का एक अद्भुत उदाहरण है।
आयोजन का उद्देश्य:
यात्रा आयोजकों का कहना है कि इस यात्रा का उद्देश्य श्रद्धालुओं को धार्मिक और सामाजिक रूप से जोड़ना है। भगवान हनुमान जी के प्रति श्रद्धा और विश्वास के साथ यह यात्रा हर साल सफलतापूर्वक पूरी होती है।